बीमा पॉलिसी करने के नाम पर बीमा एजेंट पर उन्नीस हजार रुपए हड़पने का लगाया आरोप -पीड़ित पहुंचा देहरादून मण्डल कार्यालय के उच्च अधिकारीयों को अवगत कराते हुए दिया शिकायत पत्र
(राजेश पसरीचा)
हरिद्वार। पिछले काफी समय से देश भर में ठगी करने वालों का धंधा खूब फल फूल रहा है। ठगी करने वाले इतने सक्रिय हो रहे हैं कि नये-नये तरीके अपनाकर दिन भर में हजारों लोगों को ठगी का शिकार बनाने में सफल हो रहे हैं। वहीं उत्तराखंड के हरिद्वार जिले में एक बीमा पॉलिसी के नाम पर हुई ठगी का मामला सामने आया है। जहां भारतीय जीवन बीमा निगम की ज्वालापुर शाखा के एजेंट हरिपुर कलां निवासी कैलाश पाण्डेय द्वारा अपने प्रतिष्ठान (कार्यालय) के निकट रहने वाले एक व्यक्ति को बीमा पॉलिसी के लाभ बताते हुए पॉलिसी करवाने की सलाह दी। जिस पर ग्राहक नारायण चेतन द्वारा एजेंट कैलाश पाण्डेय पर भरोसा करते हुए बीमा पॉलिसी करने की हामी भर दी गई। जिसके बाद एजेंट द्वारा बीमा धारक को गुमराह करते हुए बीमा पॉलिसी की नॉमिनी एजेंट द्वारा स्वयं की पत्नी को बनाने की बात कही। जो भारतीय जीवन बीमा निगम के नियम के विरुद्ध है उसके बावजूद बीमा एजेंट खुद को हरिद्वार ज्वालापुर भारतीय जीवन बीमा निगम शाखा का सलाहकार बताते हुए नियमों के विरुद्ध बीमा पॉलिसी में स्वयं की पत्नी को नॉमिनी बना दिया गया। जो कि बीमा पॉलिसी पेपर में अंकित है। बीमा धारक द्वारा कई दिन बाद एजेंट से बीमा पॉलिसी बॉन्ड रसीद मांगी गई तो बीमा पॉलिसी एजेंट रौब दिखाने लगा और पीड़ित को पैसे वापस करने की बात करने पर झूठे मामले में फंसाने की धमकी तक दे डाली। जिस पर बीमा पॉलिसी धारक नारायण चेतन को एजेंट द्वारा खुद के साथ ठगी का शिकार होने का शक होने लगा। जिसके बाद बीमा ग्राहक नारायण चेतन द्वारा पॉलिसी एजेंट कैलाश पाण्डेय से कई बार पॉलिसी बॉन्ड रसीद मांगने पर भी एजेंट ने कोई बॉन्ड रसीद नहीं दी। जिस पर बीमा पॉलिसी धारक भारतीय जीवन बीमा निगम मण्डल कार्यालय देहरादून पहुंच मण्डल कार्यालय के वरिष्ठ अधिकारियों के समक्ष बीमा एजेंट सलाहकार के विरुद्ध शिकायत पत्र दिया। जिसमें बीमा पॉलिसी एजेंट के विरुद्ध कार्यवाही करने की मांग की। वहीं पीड़ित ने बताया कि बीमा पॉलिसी एजेंट कैलाश पाण्डेय द्वारा पॉलिसी संबंधित फोन पर बात की रिकॉर्डिंग भी उपलब्ध है। जिस पर देहरादून मण्डल कार्यालय के वरिष्ठ अधिकारी द्वारा बीमा धारक को भरोसा दिलाया गया कि मामले की जांच कर बीमा पॉलिसी एजेंट कैलाश पाण्डेय के विरुद्ध कार्यवाही की जाएगी। लेकिन सवाल यह उठता है कि जहां भारतीय जीवन बीमा निगम एक भरोसेमंद बीमा कंपनी मानी जाती है। जहां ऐसे बीमा पॉलिसी एजेंट खुद को वरिष्ठ सलाहकार बताते हुए पॉलिसी के नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए ग्राहकों से ठगी करने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे। भारतीय जीवन बीमा निगम मण्डल के उच्च अधिकारीयों को जल्द ही ऐसे एजेंटों की जांच कर कड़ी कार्यवाही करनी चाहिए। जिससे भारतीय जीवन बीमा निगम का भरोसा बना रहे।